तिरहुत डेस्क (नई दिल्ली)। श्रीलंका में, राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे के सेना के एक विमान से देश छोड़कर मालदीव जाने के बाद बुधवार को आपातकाल की घोषणा कर दी गई।
राजपक्षे देश की अर्थव्यवस्था को न संभाल पाने के कारण अपने और अपने परिवार के खिलाफ बढ़ते जन आक्रोश के बीच देश छोड़कर चले गए हैं।
प्रधानमंत्री कार्यालय ने मीडिया संगठनों को सूचना दी कि देश में आपातकाल लागू किया गया है और पश्चिमी प्रांत में कर्फ्यू लगाया गया है।
प्रधानमंत्री ने सुरक्षा बलों को उपद्रव कर रहे लोगों को गिरफ्तार करने तथा उनके वाहन जब्त करने का भी आदेश दिया है।
इससे पहले पुलिस ने कोलंबो में फ्लावर स्ट्रीट पर प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे के कार्यालय के समीप एकत्रित हुए प्रदर्शनकारियों पर आंसू गैस के गोले दागे।
इस बीच, प्रदर्शनकारियों ने राष्ट्रपति राजपक्षे के देश छोड़कर मालदीव चले जाने की खबरें आने के बाद फ्लावर स्ट्रीट पर प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे के कार्यालय की ओर कूच करते हुए उनसे इस्तीफा देने की मांग की।
पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को खदेड़ने के लिए आंसू गैस के गोले भी दागे लेकिन इसके बावजूद वे अवरोधकों को हटाकर प्रधानमंत्री के कार्यालय में घुस गए।
प्रधानमंत्री विक्रमसिंघे ने पहले ही कहा है कि वह इस्तीफा देने और सर्वदलीय सरकार के गठन का मार्ग प्रशस्त करने के लिए तैयार हैं।
‘कोलंबो गजट’ समाचार पोर्टल की खबर के अनुसार, प्रदर्शनकारी संसद अध्यक्ष के आवास के आसपास भी एकत्रित हो गए। स्थिति को काबू में करने के लिए सेना को तैनात किया गया है।
कोलंबो में अमेरिकी दूतावास ने अगले दो दिनों के लिए एहतियात के तौर पर अपनी सेवाएं बंद कर दी हैं।
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