तिरहुत डेस्क (नई दिल्ली)। बिहार में लगातार पुल गिरने की घटनाओं को लेकर अब राजनीतिक बयानबाजी तेज हो गई है। राजद के नेता तेजस्वी यादव ने पुल गिरने की घटनाओं पर सरकार पर तंज कसा है। वहीं, केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी को लगता है कि इसमें कोई राजनीतिक साजिश है।
केंद्रीय मंत्री और हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के प्रमुख जीतन राम मांझी ने शनिवार को गया में कहा कि पुल गिर रहे हैं, यह चिंता की बात है। एक-दो महीने पहले पुल क्यों नहीं गिर रहे थे, अभी क्यों गिरने लगे?
उन्होंने आशंका जताते हुए कहा कि इसमें मुझे साजिश भी लग रही है। सरकार को बदनाम करने के लिए ऐसा कर रहे हैं। उन्होंने कहा, “पहले पुल गिरने की इतनी घटनाएं होती थी? एकाध पुल कभी गिरता था, उस पर कार्रवाई हो रही थी। लेकिन, लगातार पुल गिर रहा है, इसलिए मुझे लगता है कि जानबूझकर सरकार को बदनाम करने के लिए ऐसा किया जा रहा है।”
उन्होंने हालांकि यह भी कहा कि जो भी पुल गिरे हैं, उसमें सरकार ठेकेदार और इंजीनियरों पर सख्त कार्रवाई कर रही है। आगे ऐसा न हो इसे लेकर भी सरकार सजग है। इधर, राजद के नेता तेजस्वी यादव ने पुल गिरने की तस्वीरों को अपने एक्स पर पोस्ट करते हुए सरकार पर तंज कसा है।
उन्होंने एक्स पर लिखा, “बधाई हो! बिहार में डबल इंजन सरकार की डबल ताकत से महज 𝟗 दिन में केवल और केवल मात्र 𝟓 पुल ही गिरे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रहनुमाई और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अगुवाई में 𝟔 दलों वाली डबल इंजन धारी एनडीए सरकार ने बिहारवासियों को 𝟗 दिन में 𝟓 पुल गिरने पर मंगलराज की कल्याणमय उज्जवल शुभकामनाएं प्रेषित की है।”
उन्होंने कहा कि पुलों के गिरने से जनता के स्वाहा हो रहे हजारों करोड़ को स्वघोषित ईमानदार लोग “भ्रष्टाचार” ना कह कर “शिष्टाचार” कह रहे हैं।
तेजस्वी यादव ने आगे लिखा, “विपक्षियों को भ्रष्टाचारी का नारंगी प्रमाण पत्र बांटने वाले तथा पक्षकारिता की पत्रकारिता में पृथ्वी और आकाश की सभी रैंकिंग में नंबर-𝟏 विश्व विजेता गोदी मीडिया द्वारा प्रमाणित सत्यवादी एवं अविनाशी नेता इन सुशासनी कारनामों पर मुंह क्यों नहीं खोलते? पुलों द्वारा जल समाधि लेने पर विपक्षी नेता इस्तीफा दें।”