तिरहुत डेस्क (नई दिल्ली)। बिहार सरकार के अनुसूचित जाति एवं जनजाति कल्याण विभाग के मंत्री जनक राम ने अनुसूचित जाति एवं जनजाति (एससी/एसटी) के आरक्षण में क्रीमी लेयर का प्रावधान लागू नहीं किए जाने पर शनिवार को प्रसन्नता व्यक्त की।
मंत्री ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि हाल ही में बिहार समेत पूरे देश के अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के भाइयों को एक अशुभ संकेत मिला था। बिहार सरकार के सभी अनुसूचित जाति के सांसदों, विधायकों और मंत्रियों ने बैठक कर सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी पर चर्चा की। हमने सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी से अपनी असहमति जताई।
उन्होंने कहा कि यह बहुत खुशी की बात है कि बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर द्वारा बनाए गए संविधान में कोई बदलाव नहीं होगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि संविधान में बाबा साहेब द्वारा किए गए आरक्षण में कोई बदलाव नहीं होगा।
जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के कार्यकारी अध्यक्ष संजय झा ने केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा एससी/एसटी कोटे में क्रीमी लेयर लागू नहीं करने के फैसले पर कहा, “हम इसका स्वागत करते हैं। बिहार में नीतीश कुमार महादलित बनाकर पहले ही इस बात का संदेश दे चुके हैं कि हमारी सरकार दलितों के हितों पर किसी भी प्रकार का कुठाराघात नहीं होने देगी।”
उल्लेखनीय है कि शुक्रवार को भाजपा सांसदों ने पीएम मोदी से मुलाकात की थी और उनसे इस संबंध में विस्तार पूर्वक बात की थी। प्रधानमंत्री ने सभी सांसदों को आश्वस्त किया था कि जब तक केंद्र में मोदी सरकार है, तब तक दलितों को मिलने वाले आरक्षण में किसी भी प्रकार की आंच नहीं आएगी। भाजपा सांसदों ने इस संबंध में प्रधानमंत्री को ज्ञापन भी सौंपा था जिसमें दलितों की मौजूदा स्थिति के बारे में विस्तार पूर्वक बताया गया था।
प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में शुक्रवार को केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक हुई। इस बैठक में अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) के लिए आरक्षण में क्रीमी लेयर पर सुप्रीम कोर्ट की सिफारिश पर भी चर्चा हुई। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने शुक्रवार को साफ शब्दों में कहा कि भीमराव अंबेडकर द्वारा दिए गए संविधान में एससी और एसटी के लिए आरक्षण में क्रीमी लेयर का कोई प्रावधान नहीं है। यहां क्रीमी लेयर से तात्पर्य एससी और एसटी समुदाय के उन लोगों और परिवारों से है जो उच्च आय वर्ग में आते हैं।